जनता पर बेरोजगारी, महामारी, मँहगाई की तीहरी मार; राहत दे केजरीवाल सरकार- अनिल भारद्वाज

नई दिल्ली-20 मई 2021-पूर्व विधायक व संसदीय सचिव अनिल भारद्वाज ने दिल्ली प्रदेश कांग्रेस द्वारा आयोजित डिजिटल प्रेस वार्ता को संबोधित करते हुए आसमान छू रहे मंहगाई को महामारी के दौरान, बेरोजगारी और कालाबाजारी के बाद, आम जनता पर तीहरी मार बताया। उन्होंने पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि खाद्य तेल, डीजल-पेट्रोल, रसोई गैस के दाम बढ़ने से खाने पीने के हर जरूरी वस्तुओं के दाम ऐतिहासिक उच्चतम स्तर पर है। उन्होंने मंहगाई के लिए दिल्ली की केजरीवाल सरकार व केंद्र की भाजपा सरकार को जिम्मेदार ठेराते हुए आम जनता व छोटे व्यापारियों को राहत देने की माँग की।

अनिल भारद्वाज ने कहा कि मई महीने में 10 बार पेट्रोल डीजल के दामों में बढ़ोतरी हुई है; कोरोना महामारी से त्रस्त आम जनता को राहत देने की जगह सरकारें परेशानी दे रही है। उन्होंने कहा कि पेट्रोल डीजल के मंहगे दामों का मुख्य कारण सरकारों द्वारा अपने खजाने भरने के लिए लगाया गया भारी भड़कम टैक्स है। उन्होंने कहा कि दिल्ली में पेट्रोल के दाम 92.85 रुपये प्रति लीटर तथा डीजल के दाम 83.51 रुपये प्रति लीटर है, जिसमें क्रमशः 63℅ व 56% टैक्स, कमीशन व मुनाफे की हिस्सेदारी है। दिल्ली काँग्रेस ने केजरीवाल व भाजपा सरकारों से टैक्स को कम कर राहत देने की माँग की।

अनिल भारद्वाज ने उपभोक्ता विभाग के वेबसाइट से प्राप्त आंकड़ों के हवाले से कहा कि सरकारों की गलत नीतियों की वजह से खाद्य तेलों के दाम आसमान छू रहे। सरसों तेल के दाम महामारी के एक वर्ष के दौरान 132 रूपये प्रति लीटर से बढ़कर 179 रुपये प्रति लीटर हो गया है यानी के कुल 36% की बढ़ोतरी हुई है।

उन्होंने रसोई गैस के दामों में हुए बढ़ोतरी पर चिंता जाहिर करते हुए कहा कि पिछले साल नवम्बर में प्रति सिलिंडर 594 रुपये था जो छः महीने के दौरान कई बार बढ़ाया गया और आज वही सिलिंडर 809 रुपये प्रति सिलिंडर हो गया हैं। उन्होंने कहा कि मँहगाई की मार किचन तक पहुँच चुकी हैं जिससे गरीब व आम जनता त्रस्त है।

अनिल भारद्वाज ने कहा कि केंद्र व राज्य सरकारों की गलत नीतियों की वजह से ऐतिहासिक बेरोजगारी दर की मार झेल रही जनता को, महामारी के समय इलाज से जुड़ी हर जरूरी संसाधनों की कालाबाजारी के साथ-साथ मंहगाई ने तीहरी मार दी हैं। उन्होंने केजरीवाल सरकार से राहत की माँग करते हुए कहा कि सभी जरूरतमंद परिवारों को न्याय योजना की तर्ज़ पर 10 हज़ार रुपये दिया जाये।

उन्होंने कहा कि लॉकडाउन में बंद दुकानों के छोटे- व्यापारियों से बिजली तथा पानी के बिल लिए जा रहे है, कोरोना की वजह से छोटे व्यापारियों का काम धंदा लगभग बंद हो गया है लिहाजा छोटे व्यापारियों को रहत देते हुए उनके बिजली तथा पानी के बिलों को माफ़ किया जाए। बिजली तथा पानी के बिलों का एक हिस्सा भारी-भड़कम फिक्स चार्ज है। इसलिए बन्द पड़ी दुकानों का बिजली बिलों के फिक्स चार्ज माफ़ कर केजरीवाल सरकार छोटे व्यापारियों को राहत दे।

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